- चक्रधरपुर डिवीजन मुख्यालय आयी पीसीएमडी के सामने रेलवे मेंस कांग्रेस ने रखी अपनी चिंता
- टेंडर पर व्यवस्था बहाल होने तक सफाईकर्मियों को रिलीज नहीं करने का अनुरोध, दिया प्रस्ताव
- रेलवे अस्पतालों में खाली पड़े पदों पर पहले समायोजित करने का प्रस्ताव, मिला आश्वासन
KOKATTA/CKP. रेलवे में एक अप्रैल से सफाई कर्मियों के सभी पद सरेंडर करने का फरमान जोनल रेलवे को पहुंच चुका है. रेलवे बोर्ड से मिले आदेश के बाद सभी जोन अपने-अपने डिवीजन में पदों को सरेंडर कर सफाईकर्मियों को दूसरे विभागों में समायोजित करने के लिए जरूरी प्रक्रिया शुरू कर चुके हैं. इस आदेश के विपरीत अब तक रेलवे कॉलोनियों में सफाई को लेकर वैकल्पिक व्यवस्था नहीं की गयी है. यानी अब तक सफाई कार्य के लिए टेंडर नहीं किया गया है. ऐसे में यह माना जा रहा है कि अगर एक अप्रैल से सफाईकर्मियों का पद सरेंडर कर दिया जायेगा तो कॉलोनियों में सफाई व्यवस्था पूरी तरह ठप हो जायेगी.
दक्षिण पूर्व रेलवे (SOUTH EASTERN RAILWAY) में रेलवे मेंस कांग्रेस से इस मुद्दे को चक्रधरपुर डिवीजन मुख्यालय पहुंचीं SER की प्रधान मुख्य चिकित्सा निदेशक अंजना मल्होत्रा के सामने उठाया है. मेंस कांग्रेस के चक्रधरपुर मंडल संयोजक शशि रंजन मिश्रा ने मुख्य चिकित्सा निदेशक को चिंताओं से अवगत कराते हुए अनुरोध किया है कि वैकल्पकि व्यवस्था सुनिश्चित किये जाने तक सफाईकर्मियों को मूल पद से रिलीज नहीं किया जाये. उन्होंने टाटानगर के रेलवे ट्रैफिक कॉलोनी का उदाहरण देकर बताया कि किस तरह वहां से 22 सफाई कर्मियों का पद सरेंडर करने के बाद काम निजी हाथों में सौंप दिया गया था. लेकिन एक साल बाद ही फंड आवंटन रुकने से पूरी व्यवस्था ठप पड़ गयी थी. इसलिए पूरी व्यवस्था होने तक सफाईकर्मियों का पद सरेंडर नहीं किया जाये.
रेलवे मेंस कांग्रेस के नेताओं ने सफाईकर्मियों का समायोजन दूसरे विभागों में करने की जगह अस्पतालों में खाली पड़े पदों पर करने का भी प्रस्ताव पीसीएमडी को दिया. मेंस कांग्रेस का तर्क था कि शिक्षित सफाईकर्मियों को दूसरे विभागों में पदोन्नति के अवसर मिलने चाहिए लेकिन अस्पतालों में रिक्त पदों को भी भरा जाना आवश्यक है. इसका लाभ बड़ी संख्या में यहां आने वाले रेलकर्मियों को मिल सकेगा.
ब्रांच लाइन के रेलकर्मियों तक एआरएमई से पहुंचायी जायेगी मेडिकल सुविधा
पीसीएमडी से बातचीत में मेंस कांग्रेस नेताओं ने डॉक्टरों के समय-समय पर स्थानांतरण, रिक्त पदों को भरने और ब्रांच लाइन के रेलकर्मियों के लिए तत्काल मोबाइल मेडिकल सुविधा बहाल करने की भी मांग की. उन्होंने यह बात भी उठायी कि कई बार के वार्ता में निर्णय होने और मिले आश्वासन के बावजूद अब तक ब्रांच लाइन के रेलकर्मियों और उनके परिवारों को मेडिकल सुविधा नहीं मिल सकी है. यहां सप्ताह में चलंत मेडिकल यूनिट चलाकर मेडिकल सुविधा दिलाने का आदेश दिया गया था. इस मामले में पीसीएमडी ने माना कि यह व्यवस्था जल्द शुरू की जायेगी और इसके लिए स्टेशनों पर खड़ी एआरएमई वैन का उपयोग किया जायेगा. इससे ब्रांच लाइन के रेलकर्मी परिवारों को मदद मिल सकेगी. इस मौके पर चीफ मेडिकल सुप्रीटेंडेंट डॉ सुब्रत कुमार मिश्रा भी मौजूद थे.