एक स्थानीय न्यूज चैनल के स्टिंग से हुआ खुलासा, आरपीएफ की रिपोर्ट में गड़बड़ी पकड़ने का लिया खुद श्रेय
डीएससी रिजर्व के इंस्पेक्टर निलंबित, बिना अनुमति डीजी के सुरक्षा सम्मेलन में पहुंचने को लेकर गिरी गाज
रेलहंट ब्यूरो
सेंट्रल रेलवे के सोलापुर मंडल से खबर आ रही है कि स्थानीय पुलिस ने रेलवे आयल डिपो से डीजल/पेट्रोल की लंबे समय से चल रही चोरी को पकड़ा है. हालांकि बाद में इस मामले को आरपीएफ के सुपुर्द कर दिया गया जिसे सुरक्षा बल अपनी उपलब्धि बता रहा है. लेकिन जानकारों का मनना है कि एक स्थानीय चैनल की रिपोर्ट पर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए डीजल व पेट्रोल चोरी के कारनामे का खुलासा किया. घटना 24 फरवरी की बतायी जा रही है. जानकारी के अनुसार पुलिस ने दो लाख मूल्य के पेट्रोलियम पदार्थ की चोरी को पकड़ा है. ऐसा माना जा रहा है कि बिना आरपीएफ के सहयोग के रेलवे आयल डिपो से डीजल/पेट्रोल की चेारी नामुमकीन है.
इससे पूर्व इसी माह दक्षिण पूर्व रेलवे के चक्रधरपुर रेलमंडल अंतर्गत बंडामुंडा में कोयले की चल रही चोरी को लेकर आईवीजी की रिपोर्ट पर आरपीएफ इंस्पेक्टर एमके सोना को मुख्यालय अटैच कर दिया गया था.रेलवे में चोरियों खासकर भ्रष्टाचार के मामलों को लेकर डीजी अरुण कुमार के कड़े तेवर से भ्रष्ट अधिकारी परेशान है, बावजूद भ्रष्टाचार के मामलों में बहुत हद तक अंकुश नहीं लग पाया है. सोलापुर से जो सूचना आ रही है उसके अनुसार रेलवे साइडिंग से चल रहे पेट्रोलियम पदार्थ की चोरी को पकड़वाने में अहम भूमिका निभाने वाला भी आरपीएफ का जवान ही है. जिसकी सूचना पर चैनल ने स्ट्रिंग किया और फिर स्थानीय पुलिस ने कार्रवाई करते हुए धंधे में सक्रिय लोगों को धर दबोचा. हालांकि इस गोलमाल को पकड़ने का श्रेय लेने में आरपीएफ भी पीछे नहीं है. सोलापुर मंडल आरपीएफ की स्पेशल रिपोर्ट में कुछ ऐसा ही बताया गया है.
स्थानीय चैनल की रिपोर्ट
हालांकि मीडिया से होता हुआ यह मामला भी रेलवे बोर्ड डीजी टीम तक पहुंच गया है और यह उम्मीद जतायी जा रही है कि जल्द ही रेलवे बोर्ड की आईवीजी टीम इस मामले की गोपनीय स्तर पर जांच कर सकती है. हो सकता है आईवीजी की टीम सोलापुर में आकर पुलिस अधिकारी का बयान भी रिकॉड करें. स्थानीय चैनल पर गोलमाल का खुलासा करने वाले पुलिस अधिकारी ने पूरी जानकारी मीडिया से साझा की है. ऐसा माना जा रहा है कि आरपीएफ में कमाई को लेकर एक-दूसरे से आगे निकलने और पूरा माल स्वयं हड़प कर जाने की जिच में ही यह स्थाीय पुलिस तक पहुंचाया गया और फिर कार्रवाई की गयी. इसमें दो आरपीएफ इंस्पेक्टरों की भूमिका संदिग्ध होने की चर्चा है. ऐसा माना जा रहा है कि बना आरपीएफ के सहयोग से रेलवे साइडिंग से एक बूंद भी डीजल-पेट्रोल की हेराफेरी मुमकीन नहीं है.
वहीं दूसरी ओर सोलापुर डीएससी रिजर्व के इंस्पेक्टर अरविंद कुमार यादव को कमांडेंट मिथुन सोनी ने 26 फरवरी को निलंबित कर दिया है. हालांकि उन्हें निलंबित क्यों किया यह तो स्पष्ट नहीं है लेकिन यह बताया जा रहा है कि डीजी अरुण कुमार के सुरक्षा सम्मेलन में बिना अनुमति उनकी मौजूदगी के कारण ही उन पर गाज गिरी है.
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