- बिहार सासाराम के निवासी है हरिमोहन, नार्दन रेलवे मजदूर यूनियन के महासचिव बीसी शर्मा पर दर्ज करायी थी प्राथमिकी
- महिला रेलकर्मी के तबादले को लेकर चल रहा था टकराव, उत्तर रेलवे प्रबंधन के निर्णय से अधिकारियों का मनोबन गिरा
नई दिल्ली. रेलवे बोर्ड की नाक के नीचे ट्रांसफर-पोस्टिंग को लेकर नियमों की धज्जियां उड़ा रहे अधिकारियों की कार्य प्रणाली कई सवाल खड़े कर रही है. ताजा उदाहरण उत्तर रेलवे का है. यहां 13 दिसंबर 2018 को जारी पत्र 940-ई/15/पीटी-65/ईआईए के द्वारा मात्र छह माह की अल्प अवधि में ही फिरोजपुर के सीनियर डीसीएम हरिमोहन तबादला कर दिया गया. उन्हें अंबाला भेजा गया है. एक साल में यह उनका दूसरा तबादला है. वहीं मुरादाबाद के सीनियर डीसीएम विवेक शर्मा का तबादला भी जोन में चर्चा का विषय बना हुआ है. सीनियर डीसीएम, फिरोजपुर और सीनियर डीसीएम, मुरादाबाद के तबादले का सच चाहे जो भी हो लेकिन उसका श्रेय लेने के लिए बीसी यूनियन आतुर है. हालांकि अल्प अवधि में दोनेां सीनियर डीसीएम को हटाये जाने के पीछे के बड़े निहितार्थ से इनकार नहीं किया जा सकता है.
बताया जाता है कि जून 2018 में हरिमोहन ने फिरोजपुर मंडल के सीनियर डीसीएम का पदभार लिया था. इसके बाद रेलवे बोर्ड के आदेश का अनुपालन सुनिश्चित कराते हुए उन्होंने वर्षों से एक स्थान पर जमे कई लोगों को तबादला कर दिया. तबादले की इस दम में यूनियन नेताओं के चेले-चमचे भी आ गये. माना जा रहा है कि यूनियन के नाम पर वर्षों से एक स्थान पर जमे कई लोगों से यूनियन के आर्थिक हित भी सधते है यही कारण था कि सीनियर डीसीएम का यह निर्णय यूनियन को नहीं भाया. इसमें विवाद एक महिला रेलकर्मी को लेकर उठा जिसके तबादले को लेकर यूनियन का विरोध था.
ऑल इंडिया रेलवे फेडरेशन से उभरे विवाद के बीच यूनियन की धमकी के बाद हरिमोहन के समर्थन में आफिसर्स एसोसिएशन के आने से स्थिति टकराव पूर्ण हो गयी. कोई रास्ता नहीं देखकर बीसी यूनियन ने दिल्ली में धरना देकर प्रबंधन पर दबाव बनाया और इसका असर रहा कि हरिमोहन को 6 माह की अवधि में ही चलता कर दिया गया. मुरादाबाद मंडल में चल रही खींचतान का असर वहां के सीनियर डीसीएम विवेक शर्मा पर पड़ा जिन्हें फिरोजपुर भेज दिया गया है. उनका भी कार्यकाल अभी पूरा नहीं हुआ था.
मजे की बात है कि रेलमंत्री पीयूष गोयल के दिशानिर्देश पर बीते दिनों ही रेलवे बोर्ड के प्रमुख कार्यकारी निदेशक/विजिलेंस, सुनील माथुर ने सभी जोनल महाप्रबंधकों को पत्र जारी करके लंबे समय से संवेदनशील पदों पर टिके अधिकारियों और कर्मचारियों को हटाने का फरमान सुनाया था. इस आदेश की आड़ में कई लोगों को इधर से उधर भी किया गया. हालांकि कई को तबादले की जगह उसी जगह पद बदलकर तैनात कर दिया गया. जबकि कि पदोन्नति के बाद नियमानुसार ट्रांसफर अनिवार्य है.
सीनियर डीसीएम ने यूनियन नेता पर कराया था एफआइआर
फिरोजपुर के सीनियर डीसीएम हरिमोहन ने जान से मारने की धमकी देने के लिए नार्दन रेलवे उत्तरीय रेलवे मजदूर यूनियन के महासचिव बीसी शर्मा पर प्राथमिकी दर्ज करायी थी. यह धमकी एक महिला कर्लक का तबादला गुडस आफिस में किए जाने से नाराज होकर यूनियन नेता ने दी थी. सीनियर डीसीएम हरि मोहन बिहार सासाराम के निवासी है.