डाटा लॉगर से पता चला कि ट्रेन को चार बोगी पीछे किया गया था रिवर्स, निलंबित चालकों पर गिरेगी गाज
रेलहंट ब्यूरो, नई दिल्ली
14258 नई दिल्ली-बनारस काशी विश्वनाथ एक्सप्रेस के चालक ने सीबीगंज स्टेशन पर सिग्नल ओवरसूट किया था. यह खुलासा डाटा लॉगर की जांच से हुआ है. घटना 20 सितंबर की है. डाउन लाइन पर काशी विश्वानाथ एक्सप्रेस को लोको पायलट एसपी पांडेय एवं सहायक प्रमोद कुमार सोनी ले जा रहे थे. सीबीगंज स्टेशन के आउटर पर लाइन क्लीयर नहीं रहने से काशी विश्वनाथ को लाल सिग्नल दिया गया. चालक जब तक ट्रेन को कंट्रोल कर पाते ट्रेन सिग्नल ओवरसूट कर चुकी थी. कुछ देर बाद लाइन क्लीयर कर ट्रेन को आगे की ओर रवाना कर दिया गया. लेकिन सिग्न्ल ओवरसूट के कारण मंडल कंट्रोल के आदेश पर चालक को शाहजहांपुर स्टेशन पर बदल दिया गया था. चालक एससी पांडेय की जगह रोजा जंक्शन से दूसरे चालक को ट्रेन में रवाना किया गया. हालांकि सिग्नल ओवरसूट को लेकर चालकों ने रेल प्रशासन के सामने गलत तथ्य रखा ओर उन्हें गुमराह करने का प्रयास किया.
सीनियर डीएमई ने प्रथम दृष्टया मामले में दोषी पाये जाने पर 21 सितंबर को लोको पायलट और सहायक लोको पायलट को निलंबित कर दिया था। वहीं, मामले की उच्चस्तरीय जांच के लिए टीम गठित की थी. यह टीम एक सप्ताह में अपनी रिपोर्ट सौंपेगी. टीम की जांच में नये खुलासे सामने आये हैं. बाद में प्रारंभिक डाटा लॉगर की जांच में यह बात सामने आयी कि काशी विश्वनाथ एक्सप्रेस को रिवर्स किया गया था. सीबीगंज के पास काशी विश्वनाथ एक्सप्रेस के लोको पायलट ने रेड सिग्नल पार करने के बाद चालक द्वारा अधिकारियों को गुमराह करने की कोशिश डाटा लॉगर की जांच में सामने आ गयी. जांच में यह बात सामने आयी कि लोको पायलट ने दोबारा करीब चार डिब्बा ट्रेन को पीछे किया था. इस मामले में पहले से निलंबित किये गये लोको पायलट एसपी पांडेय एवं सहायक प्रमोद कुमार सोनी के खिलाफ कड़ी कार्रवाई यानी बर्खास्तगी की कार्रवाई तक होने की संभावना बनने लगी है.