कोरबा. जल्द से जल्द किलोमीटर एलाउंस के निर्धारण की मांग लेकर रविवार को रेलवे के चालक-परिचालकों ने स्टेशन में प्रदर्शन किया। रैक-1980 के फॉर्मूले के अनुसार संयुक्त क्रू लॉबी के सामने किए गए प्रदर्शन में रेलखंड के करीब 70 रेलकर्मी शामिल रहे। कर्मियों के अनुसार नए वेतनमान के अनुसार अब तक इसका निर्धारण कर दिया जाना था, लेकिन रेल प्रबंधन अब तक इस दिशा में कार्रवाई पूरी नहीं कर सका है, जिसका नुकसान कर्मियों को उठाना पड़ रहा है। मांग को जल्द से जल्द पूरा किए जाने की मांग की गई।
ऑल इंडिया लोको रनिंग स्टाफ एसोसिएशन (एआईएलआरएसए) की केंद्रीय कार्यकारिणी के आह्वान पर रविवार को प्रत्येक क्रू लॉबी में विरोध प्रदर्शन किया गया। रैक 1980 (आरएसी-1980) के फार्मूले के अनुसार प्रदर्शन करते हुए रेल बोर्ड के समक्ष किलोमीटर एलाउंस (केएमए) प्रदान किए जाने की मांग की गई। एसोसिएशन के आह्वान पर कोरबा लॉबी में भी आयोजन किया गया था, जिसमें किलोमीटर एलाउंस का जल्द से जल्द निर्धारण करने की मांग रखी गई थी। रैक 1980 के तहत निर्धारित प्रदर्शन के दौरान एक स्वर में सभी चालक-परिचालक, शंटर चालक ने एकजुटता दिखाते हुए कार्यक्रम में शांतिपूर्वक प्रतिभागिता दर्ज कराई। इस दौरान प्रमुख रूप से राकेश कुमार, विनोद कुमार, विकास रॉय, एसबी यादव, एसके नेताम, आकाश कुमार, परमानंद, व्ही चंद्रा, धनेश्वर लाल, एचएस सिंह, शंभू प्रकाश, एचएल पटेल, नीलेश समेत करीब 70 कर्मी मौजूद रहे।
एक वर्ष बाद भी नहीं हो सका निर्धारण
प्रदर्शन में शामिल रेलकर्मियों के अनुसार नया वेतनमान लागू हुए एक वर्ष से ज्यादा वक्त गुजर चुका है, बावजूद इसके नए वेतनमान में लागू किलोमीटर एलाउंस का निर्धारण बोर्ड नहीं कर सका है, जिसका नुकसान सभी इंजनकर्मियों को उठाना पड़ रहा है। इस संबंध में शीर्ष नेतृत्व के निर्देश के अनुसार आंदोलन उग्र करने की जरूरत पड़ी, तो उसके लिए भी सभी तैयार हैं। किसी भी सूरत में अपना हक नहीं छोड़ा जाएगा और अगर इसके लिए कोई भी लड़ाई लड़नी पड़ी तो वे पीछे नहीं हटेंगे।
प्रदर्शन में शामिल रेलकर्मियों के अनुसार नया वेतनमान लागू हुए एक वर्ष से ज्यादा वक्त गुजर चुका है, बावजूद इसके नए वेतनमान में लागू किलोमीटर एलाउंस का निर्धारण बोर्ड नहीं कर सका है, जिसका नुकसान सभी इंजनकर्मियों को उठाना पड़ रहा है। इस संबंध में शीर्ष नेतृत्व के निर्देश के अनुसार आंदोलन उग्र करने की जरूरत पड़ी, तो उसके लिए भी सभी तैयार हैं। किसी भी सूरत में अपना हक नहीं छोड़ा जाएगा और अगर इसके लिए कोई भी लड़ाई लड़नी पड़ी तो वे पीछे नहीं हटेंगे।